पैकेट वाले बेबी फूड्स खरीदने से पहले पेरेंट्स को लेबल पर पढ़नी चाहिए ये 5 चीजें, यहां जानें

मार्केट में मिलने वाले बेबी फूड प्रोडक्ट्स के कई नुकसान हो सकते हैं। इनमें से सबसे प्रमुख नुकसान है पोषण की क्वालिटी में कमी। बेबी फूड प्रोडक्ट्स अक्सर प्रोसेस्ड होते हैं जो बच्चे की हेल्थ पर बुरा असर डाल सकते है

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By Nutan Bhatt

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bachon ke liye baby food products ke nuksaan
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क्या आपका बच्चा भी 6 महीने का हो गया है। बच्चों के 6 महीने के होने के बाद सभी पेरेंट्स को यह चिंता होने लगती है कि बच्चे को क्या क्या खिलाना चाहिए। और इससे भी बड़ी बात यह हो चुकी है कि पेरेंट्स अगर जॉब करते है तो वह चाहते है कोई सोलुशन मिले जिससे उनका समय भी बच पाए और बच्चे खाना खाने की शुरुवात भी कर सके। लेकिन इसके लिए कई पेरेंट्स मार्किट में मिलने वाले बेबी फ़ूड को एक बेहतर ऑप्शन समझते है जो कि आपके बच्चे के लिए बिलकुल भी ठीक नहीं है।

पैकेट वाले बेबी फूड्स क्यों सही नहीं?

आजकल की बिजी लाइफस्टाइल में लोग अपने रोजमर्रा के जीवन में कामों को आसान बनाने के लिए बच्चों के लिए पैक्ड फूड्स का अधिक उपयोग करने लगे हैं। यह ना केवल उनके समय की बचत करता है बल्कि पैक्ड फूड मार्केट में आसानी से मिलने भी लगे हैं, जिनमे 6 महीने के बच्चों के लिए तरह-तरह के बेबी फूड्स की वैराइटीमिलने लगी है। बाजार में मिलने वाले इन बेबी फूड्स की पैकेजिंग किसी को भी आकर्षित कर सकती है, इन प्रोडक्ट्स में अधिकतर बच्चे की हेल्थ के लिए फायदेमंद बताए जाने वाले पोषक तत्वों के होने का दावा किया जाता है और इनके यूनीक टेस्ट की वजह से बच्चे इन्हा खाना पसंद भी करते हैं, हालांकि बाहर से अच्छे दिखने वाले यह फूड प्रोडक्ट्स बच्चे की सेहत के लिए भी अच्छे हों यह जरूरी नहीं है।

जी हां, आज के समय बाजार में मिलने वाले कई सारे बेबी फूड्स पैकेट केवल लोगों को भ्रमित करने के लिए हेल्दी होने का दावा करती हैं, जबकि असल में इन फूड्स में पाए जाने वाले सभी इंग्रेडेंट्स अच्छे नही होते हैं। जिनपर अक्सर माता-पिता खरीदने से पहले ध्यान नहीं देते हैं और उन्हें रोजाना अपने बच्चे की डाइट में शामिल करते हैं।

ऐसे में यदि आप भी अपने छह महीने या इससे अधिक आयु के बच्चे को पैकेट वाले बेबी फूड्स देते हैं, तो आपको पैकेट की खरीद से पहले उसपर लगे लेबल को अवश्य ही पढ़ना चाहिए। इससे आपको यह समझने में मदद मिल सकेगी की बेबी फ़ूड में मिली कौन सी चीज आपके बच्चे की सेहत के लिए सही और और कौन सी नही, तो चलिए इस लेख के माध्यम से हम आपको उन 5 चीजों की जानकारी प्रदान करेंगे, जो आपको बेबी फूड्स पैकेट पर मुख्य रूप से जरूर पड़नी चाहिए।

bachon ke liye baby food products ke nuksaan
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फूड लेबल क्या है?

फूड लेबल किसी उत्पाद की पैकेजिंग पर प्रस्तुत जानकारी होती है, जिससे उपभोक्ता (कस्टूमर) को उत्पाद (प्रोडक्ट) के बारे में उपयोगी जानकारी प्राप्त करने में मदद मिलती है। फूड लेबल के जरिए आप जिस भी उत्पाद (प्रोडक्ट) की खरीद कर रहे हैं उसमे क्या-क्या चीजें एड की गई हैं और दिए गए इंग्रिडेंट्स आपकी सेहत के लिए कितने सुरक्षित है यह पता चलने से आप सही उत्पाद का चयन कर सकेंगे।

बेबी फूड्स खरीदने से पहले लेबल पर पढ़ना क्यों है जरूरी

आज के समय मार्केट में कई तरह के बेबी फूड्स विकल्प उपलब्ध हैं, जो बेहद ही सुंदर पैकेजिंग के साथ मार्केट में बेचे जाते हैं। जिनका उत्पादन करने वाली कंपनियां बेबी फूड्स प्रोडक्ट को टेस्टी और आकर्षक दिखाने के लिए इनमे कई तरह के आर्टिफिशियल कलरिंग, मैदा और चीनी का इस्तेमाल करते हैं और यह बच्चे की सेहत के लिए काफी नुकसानदायक साबित हो सकते हैं। लंबे समय तक इन बेबी फूड्स का सेवन बच्चे को करवाने से उन्हे कई तरह की स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां जैसे उल्टी, बुखार, दस्त और पाचन क्रिया आदि समस्या हो सकती हैं।

पैकेजिंग पर दी गई जानकारी

किसी भी फूड प्रोकडक्ट की पैकेजिंग पर उसके इंग्रेडेंटस की जानकारी के साथ-साथ और भी महत्त्वपूर्ण जानकारी उपलब्ध की गई होती है, जो इस प्रकार है।

  • भोजन के प्रकार
  • पोषण की जानकारी
  • उत्पाद का वजन और माप
  • निर्माण की तारीख
  • उपभोग के लिए वैधता
  • किसी भी तरह के पोषण या स्वास्थ्य संबंधी दावा
  • निर्माताओं और विपणन का पता और विवरण
  • उपयोग एवं भंडारण (Storage) के लिए दिशा-निर्देश

पोषक तत्व देखें

बच्चे के बेबी फूड की खरीद करने से पहले आपको मुख्य रूप से उसमे मौजूद पोषक तत्वों पर ध्यान देना चाहिए, पोषक तत्वों में विटामिन, प्रोटीन, मिनरल्स अच्छी मात्रा में होने जरूरी है। प्रोटीन बच्चों के मांसपेशियों और अंगों के निर्माण और उनके इम्यून सिस्टम को मजबूत करने में मदद करता है, वहीं इसमें विटामिन बच्चों की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने, हड्डियों की डेंसिटी को बढ़ाने और आंखे तेज करने में मदद करते हैं। ऐसे में अपने आप जिस भी ब्रांड का बेबी प्रोडक्ट ले रहे हैं उसमे पोषक तत्वों की जांच अवश्य करें।

सोडियम

सोडियम (Na) नमक में पाया जाएं वाला एक तत्व होता है, यह शरीर को फ्लूड का संतुलन बनाए रखने में मदद करता है। शरीर में तांत्रिक और मांसपेशियों के सामान्य रूप से काम करने में सोडियम महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाता है। हालांकि इसका अधिक उपयोग उच्च रक्तचाप (High BP) का कारण बन सकता है। खाद्य पदार्थों में भी प्राकृतिक रूप से सोडियम पाया जा सकता है, ऐसे में यह जरूरी है की आप बेबी के लिए ऐसे खाद्य पदार्थों की तलाश करें जिनमे सोडियम की मात्रा कम हो।

प्रोसेस्ड शुगर

कई बेबी फूड्स बनाने वाली कंपनियां खाद्य पदार्थ को स्वादिष्ट बनाने के लिए उनमें नेचुरल शुगर के अलावा प्रोसेस्ड शुगर का भी उपयोग करते हैं। प्रोसेस्ड शुगर का अधिक उपयोग मोटापे के साथ-साथ डायबिटीज का खतरा अधिक बढ़ा देती है, ऐसे में बच्चे के बेहतर स्वास्थ्य के लिए आप बेबी फ़ूड में मौजूद चीनी की मात्रा की जांच मुख्य तौर पर करें। अगर आपको किसी प्रोडक्ट में प्रोसेस्ड शुगर की मात्रा दो ग्राम से अधिक लगती है तो ऐसे प्रोडक्ट को बिकुल न खरीदें।

फैट

बच्चे के बेबी फ़ूड लेबल में कुल फैट (वसा) भोजन की एक सर्विंग में फैट की मात्रा को दर्शाता है। फैट ऊर्जा प्रदान करते हैं कुछ फैट अच्छे होते हैं तो कुछ फैट भोजन को बनावट देने हैं लेकिन इसमें कैलोरी भी अधिक होती है और अधिक वसायुक्त भोजन खाने से कई स्वास्थ्य समस्याएं भी हो सकती हैं। फैट को ट्रांस फैट (स्वास्थ्य के लिए खराब), संतृप्त फैट यानी saturated fat (स्वास्थ्य के लिए खराब) और असंतृप्त फैट यानी unsaturated fat (स्वास्थ्य के लिए अच्छा) के अंतर्गत वर्गीकृत किया गया है, ऐसे में यदि बेबी फ़ूड लेबल पर ट्रांस फैट लिखा हुआ है तो उसे अपने बच्चे को देने से बचे।

सर्विंग और कैलोरी

आप जब भी बेबी फ़ूड की खरीद करें उसमे फूड लेबल पर सर्विंग और सूचीबद्ध कैलोरी की जांच अवश्य करें। ऐसा इसलिए क्योंकि रोजमर्रा के जीवन में हम कभी न कभी बाहर के स्नैक्स या फूड प्रोडक्ट्सका सेवन अवश्य ही करते हैं, जिनमे यह साफ तौर पर लिखा होता है एक व्यक्ति को एक दिन में कितने स्नैक्स का सेवन करना चाहिए। उदाहरण के लिए यदि किसी चिप्स के पैकेट पर प्रति सर्विंग 11 से 100 ग्राम कैलोरी लिखी होती है और उसमे यह भी लिखा है की आपको केवल एक दिन में सिर्फ 11 ग्राम चिप्स ही खाना चाहिए, इससे अधिक से सेवन से आपकी तबियत भी खराब हो सकती हैं। ऐसे में बेबी फ़ूड लेबल पर बच्चों को खाना परोसने का जो हिसाब दिया गया होता है उसे ही चुनना चाहिए।

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Nutan Bhatt
मैं नूतन भट्ट हूँ, शिवांग की माँ और mumbabysparsh.com की संस्थापक। एक नई माँ के रूप में, मैंने अपनी मातृत्व यात्रा के दौरान सीखे गए सबक और अनुभवों को साझा करने का फैसला किया। मेरा लक्ष्य है अन्य नई माओं को प्रेरित करना और उनकी मदद करना, ताकि वे इस चुनौतीपूर्ण और खुशियों भरी यात्रा में आत्मविश्वास से आगे बढ़ सकें। मेरे लेख बच्चों की देखभाल, स्वास्थ्य, और मातृत्व के सुखद अनुभवों पर केंद्रित हैं, सभी को हिंदी में सरल और सुगम भाषा में प्रस्तुत किया गया है। मैं आशा करती हूँ कि मेरे विचार और सुझाव आपकी मातृत्व यात्रा को और अधिक खुशहाल और सुगम बनाने में मदद करेंगे।

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